
आर पी डब्लू न्यूज़/सुशील शर्मा
पात्र व्यक्ति जल्द से जल्द अपने बनवाएं अपना गोल्डन कार्ड :- डीसी डॉ. संगीता तेतरवाल
कैथल, 29 जनवरी:- डीसी डॉ. संगीता तेतरवाल ने बताया कि स्वास्थ्य सेवाओं के विस्तार के रूप में चिरायु योजना जरूरतमंदों के लिए सहयोगी बन रही है। हरियाणा सरकार की महत्वाकांक्षी चिरायु योजना के अंतर्गत कैथल जिला में गोल्डन कार्ड बनाकर उन्हें 5लाख रूपए तक की राशि का निशुल्क इलाज मुहैया कराते हुए स्वास्थ्य सेवा प्रदत्त की जा रही है। पात्र व्यक्ति जल्द से जल्द अपने गोल्डन कार्ड नजदीकी सीएससी पर जाकर बनवाएं।
डीसी डॉ. संगीता तेतरवाल ने बताया कि स्वास्थ्य विभाग जिला में मुख्यमंत्री अंत्योदय परिवार उत्थान योजना के तहत अंत्योदय परिवारों के चिरायु कार्ड बनाने की प्रक्रिया में निरंतर कार्य कर रहा है । हरियाणा सरकार द्वारा राज्य के अंत्योदय परिवारों को आयुष्मान भारत प्रधानमंत्री जन आरोग्य योजना का लाभ देते हुए चिरायु योजना को क्रियांवित किया है और इस योजना के तहत अब एक लाख 80 हजार रूपए तक की वार्षिक आय वाले जरूरतमंद लोगों को चिरायु योजना से स्वास्थ्य लाभ देने का सराहनीय निर्णय लिया है। उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार की महत्वाकांक्षी आयुष्मान भारत योजना का प्रदेश सरकार द्वारा अंत्योदय परिवारों तक स्वास्थ्य सेवाओं का लाभ पहुंचाने के लिए प्रदेश में चिरायु योजना शुरू की गई।
डीसी डॉ. संगीता तेतरवाल ने बताया कि चिरायु कार्ड बनवाने के लिए नजदीकी सीएससी केन्द्र में जाकर आवेदन किया जा सकता है। उन्होंने बताया कि इसके लिए आधार कार्ड व परिवार पहचान-पत्र जरूरी दस्तावेज हैं। आयुष्मान कार्ड बनवाने के लिए संपूर्ण प्रक्रिया पूरी तरह नि:शुल्क है। जिला में जिन लोगों का आयुष्मान कार्ड के लिए लिस्ट में नाम है उनकी सूची कॉमन सर्विस सेंटर पर उपलब्ध है व सरकार के आदेशानुसार इनका आयुष्मान कार्ड निशुल्क बनाया जा रहा है। उन्होंने जिले के सभी सीएससी वीएलई सहित पंचायत प्रतिनिधियों व शहरी क्षेत्र के वार्ड पार्षदों से आह्वान किया कि उनके क्षेत्र में जो भी योजना के तहत पात्र चिन्हित लोग हैं उनका आयुष्मान कार्ड बनवाने में सहयोगी बनें। यदि कोई सीएससी वीएलई आमजन से चिरायु कार्ड बनाने के लिए किसी भी प्रकार से कोई शुल्क लेगा तो उसके खिलाफ प्रशासनिक कार्यवाही अमल में लाई जाएगी और ऐसे वीएलईज की आईडी भी बंद कर दी जाएगी। उन्होंने अंत्योदय परिवारों से अपील की है कि वे चिरायु कार्ड बनाने के लिए किसी सीएससी-वीएलई को कोई पैसा न दें और यदि कोई कंप्यूटर ऑपरेटर या वीएलई कार्ड बनाने के लिए पैसे लेता है तो उसकी शिकायत जिला प्रशासन को करें।