किसानों ने पराली में लगाई आग, अधिकारी जलती पराली को नहीं देख पाए और जुट गए आग बुझाने में, यमुनानगर में अचानक बढ़े पराली जलाने के केस, क्या कहते हैं आंकड़े जरा खौर कीजिए
आर पी डब्लू न्यूज़/ डिविजन ब्यूरो प्रमुख राजीव मेहता

यमुनानगर 26 अक्टूबर:-यमुनानगर में पराली जलाने के मामलों में अचानक से बढ़ोतरी हुई है| जिले में ताजा आंकड़ों की बात करें तो 80 किसानों पर कृषि विभाग की सख्ती दिखी है औऱ उन्हे जुर्माना भी वसूला है| अब जिले में कृषि विभाग ने टीमों का गठन किया है जो गांव-गांव जाकर किसानों को पराली ना जलाने को लेकर प्रेरित कर रही है|

पराली जलाने का मसला हर साल गर्म होता है लेकिन किसान हर साल पराली जलाते हैं| इस जलती पराली पर सियासी रोटियां भी सेकी जाती है| इन दिनों जलती पराली पर हरियाणा और पंजाब में सियासी माहौल गर्म है |लेकिन यमुनानगर में खबर सियासत से हटकर है जिले में करीब 15 दिन पहले महज 2 ही मामले पराली जलाने के सामने आए थे| उस वक्त कृषि विभाग की खूब वाहावाही हुई| अगर बात आज की करें तो जिले में पराली जलाने के करीब 80 केस सामने आए हैं हांलाकि विभाग ने 50 से ज्यादा किसानों पर सख्ती भी दिखाई है| कृषि विभाग ने करीब 1 लाख 80 हजार रुपए का जुर्माना वसूला है|
पराली के बढ़ते मामलों को लेकर प्रशासनिक अधिकारी पूरी तरह से एक्टिव हैं| अधिकारी जलती पराली को देख खुद आग बुझाने के लिए आगे आए| पराली जलाना किसानों की मजबूरी समझें या फिर प्रशासन के नियमों की अनदेखी लेकिन इस जहरीली हवा से लोगों का सांस लेना दूभर हो गया है| खेतों से उठती जहरीली हवा लोगों के लिए हानिकारक साबित हो रही है|

सरकार की तरफ से किसानों को पराली ना जलाने पर प्रोत्साहन राशि दी जा रही है |लेकिन पराली जलाने के मामलों में लगातार इजाफा हो रहा है| बढता पर्यावरण प्रदूषण लोगों के लिए बेहद खतरनाक है अब देखना होगा आने वाले वक्त में बढती सर्दी के साथ पराली जलाने के मामलों में इजाफा होगा या कमी!